Pahalgam Terrorist attack जम्मू-कश्मीर की शांत वादियों और सुरम्य पहाड़ों के बीच अचानक गोलियों की आवाज़ों ने पूरे पहलगाम को दहला दिया। जहां हर साल लाखों सैलानी सुकून और प्राकृतिक सौंदर्य की तलाश में आते हैं, वहीं इस बार आतंक ने सैरगाह को खून से रंग दिया। इस भयावह आतंकी हमले में 12 पर्यटक घायल हो गए, जिनमें से 1 की मौके पर ही मौत हो गई।

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Pahalgam Terrorist attack कैसे हुआ हमला ?
दोपहर का वक्त था, श्रीनगर से लगभग 89 किलोमीटर दूर बायसरान घाटी में पर्यटक घुड़सवारी का आनंद ले रहे थे। तभी अचानक चीख-पुकार मच गई। कुछ लोग पुलिस की वर्दी में दिखाई दिए, लेकिन वे रक्षक नहीं, बल्कि भक्षक थे — आतंकी पुलिस की वर्दी में आए थे।
हमलावरों ने पर्यटकों से उनके नाम पूछे। जैसे ही उन्हें लगा कि कुछ लोग मुस्लिम नहीं हैं, उन्होंने नजदीक से सिर में गोली मार दी। इस हमले में राजस्थान से आए पर्यटकों को निशाना बनाया गया। 11 लोग गंभीर रूप से घायल हुए और एक ने दम तोड़ दिया।

Pahalgam Terrorist attack सुरक्षा बलों की त्वरित कार्रवाई
हमले की सूचना मिलते ही सुरक्षाबलों ने पूरे इलाके को घेराबंदी में ले लिया। DGP और IG तुरंत मौके के लिए रवाना हुए। हेलिकॉप्टर से इलाके की निगरानी की जा रही है और घायलों का इलाज पास के अस्पतालों में जारी है।
Pahalgam Terrorist attack हमलावर कौन थे?
प्राथमिक जांच में सामने आया है कि इस हमले के पीछे TRF (The Resistance Front) नामक आतंकी संगठन का हाथ हो सकता है। TRF, लश्कर-ए-तैयबा का ही बदला हुआ रूप माना जाता है, जिसे अंतरराष्ट्रीय दबाव के चलते नाम बदलना पड़ा।
TRF ने पिछले कुछ समय से कश्मीर में कई टारगेटेड हमलों की जिम्मेदारी ली है, और यह हमला भी उसी रणनीति का हिस्सा लगता है।

हमले का उद्देश्य क्या था?
Pahalgam Terrorist attack हमले का समय और स्थान देखकर साफ है कि यह सुनियोजित था। 3 जुलाई से शुरू होने वाली अमरनाथ यात्रा की तैयारियां जोरों पर हैं, और पहलगाम इसका अहम पड़ाव है। हर साल यहां हजारों पर्यटक आते हैं, और आतंकियों को यही बढ़ती भीड़ रास नहीं आ रही थी।
संभावना है कि हमला अमरनाथ यात्रा को बाधित करने और पर्यटकों में भय का माहौल बनाने के लिए किया गया।
क्या कहती है सरकार और प्रशासन?
प्रशासन ने हमले की कड़ी निंदा की है और कहा है कि इस नापाक हरकत का मुंहतोड़ जवाब दिया जाएगा।
मुख्यमंत्री और गृहमंत्री ने भी घटना पर दुख जताते हुए कहा कि आतंक का कोई धर्म नहीं होता, और इस हमले के दोषियों को बख्शा नहीं जाएगा।
अलर्ट जारी, सुरक्षा बढ़ाई गई
पहलगाम और आसपास के इलाकों में अलर्ट घोषित
सुरक्षा व्यवस्था और मजबूत की गई
अमरनाथ यात्रा के लिए नई रणनीति तैयार की जा रही है
शांति और सौहार्द की धरती को आतंकियों ने फिर से खून से रंग दिया, लेकिन इस बार निशाने पर थे मासूम सैलानी। यह हमला न सिर्फ मानवता पर हमला है, बल्कि देश की एकता और पर्यटन को भी कमजोर करने की साजिश है। अब देखना होगा कि सरकार और सुरक्षा एजेंसियां इस चुनौती का कैसे जवाब देती हैं।
